IP Address क्या है और इसके टॉप 10 बेहतरीन उपयोग क्या है?

दोस्तों, क्या आप जानते हैं की IP Address क्या है और किसी का IP Address कैसे पता करे? इसका आसान सा जवाब होता है Internet Protocol Address. इसे लोग IP number, Internet address के नाम से भी जानते हैं. आप चाहें इस कुछ भी कह लें, लेकिन आखिर में ये एक ऐसा link होता है जिससे की आपका device internet से connect हो पाता है, दुसरे devices के साथ communicate कर पाता है. जैसे की नाम से ही पता चलता है की यह एक Address होता है. ऐसे में अगर आपको इप एड्रेस क्या है, यदि पता नहीं तब घबराने की कोई भी जरुरत नहीं है.

क्यूंकि आपके जैसे करोड़ों लोग है जो की computer का इस्तमाल तो करते हैं लेकिन उन्हें असल में ये नहीं पता है की आईपी एड्रेस से क्या कर सकते है. वैसे इसमें कोई बुराई नहीं है क्यूंकि भले ही आपके system को Internet के साथ connect करने में इसका सबसे बड़ा योगदान है.

IP Address को Internet का passport भी कहा जाता है, वैसे एक आम यूजर को इसके बारे में जानना उतना जरुरी नहीं होता है. लेकिन एक smart user होने के लिए आपको इस technology के विषय में कुछ जानकरी तो अवस्य ही रखनी चाहिए.

इसलिए आज मैंने सोचा की क्यूँ न आप लोगों को मेरा IP Address क्या है और कैसे काम करता है के बारे में पूरी जानकारी प्रदान करूँ जिससे आपको ये तो पता चले की आखिर इस technology का कैसे इस्तमाल होते हैं device को internet के साथ connect करने में, तो फिर बिना देरी किये चलिए शुरू करते हैं और जानते हैं की ये आईपी एड्रेस क्या होता है.IP Address क्या है और इसके टॉप 10 बेहतरीन उपयोग क्या है?

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IP Address क्या है? (What is IP Address) 

आज इंटरनेट की इस दुनिया मे बहुत से तत्व हैं जिनकी मदद से एक जगह से दूसरी जगह डाटा ट्रांसफर किया जाता है.इन्ही इंटरनेट तत्वों में से एक होता हैं IP Address.

IP Address का पूरा नाम “इंटरनेट प्रोटोकॉल एड्रेस” (IP Address Full Form in Hindi) यह गणितीय अंकों के रूप में होता है. तथा स्मार्टफोन हो या कंप्यूटर प्रत्येक डिवाइस के लिए एक अलग IP Address होता है.

IP Address आपके, हमारे डिवाईस का नाम होता है. इस नाम से ही उसे इंटरनेट की दुनिया में पहचाना जाता है. बिना IP एड्रेस के हम एक डिवाइस को दूसरे डिवाइस के साथ नेटवर्क कनेक्ट नहीं कर सकते. इसलिये ब्राउज़र में किसी विषय पर सर्च करने के दौरन IP Address से Router को ज्ञात होता है कि उसे यह डाटा कहाँ पहुँचाना है और Router जानकारी एकत्र कर उस IP Address तक जानकारी पहुँचाता है.

ध्यान दें:– किसी भी कंप्यूटर के लिए दो IP Address हो सकते हैं, पहला इंटरनेट कनेक्शन के लिए तथा अन्य लोकल एरिया नेटवर्क के रूप में मौजूद हो सकता है.

IP Address Full Form क्या है ? 

IP Address का Full Form है Internet Protocol address

IP Address के संस्करण (IP Address Versions in Hindi) 

.1 IPV4

IP Address के दो Version हैं. पहला IPV4 Address है जिसे 1983 में विकसित किया गया. IPV4 32 बिट होता है. IPV4 एड्रेस कुछ इस तरह दिखाई देता है 172.16.254.1 जिसे चार भागों में विभाजित कर दशमलव से अलग किया जाता है. तथा प्रत्येक रेंज 0 से लेकर 255 तक होती है. जिसमें प्रत्येक भाग 8 बिट्स का होता है.

आमतौर पर IPV4 बाइनरी, हेक्साडेसीमल आदि रूप में दिखाई देता है. लेकिन IPV4 में केवल सीमित आईपी एड्रेस हो सकते हैं. अभी लगभग सभी डिवाइस में IP4 Address उपलब्ध होता है.

.2 IPV6

परन्तु पिछले कुछ सालों से इंटरनेट उपयोगकर्ताओं की बढ़ती संख्या के कारण IP4 Version (संस्करण) के स्थान पर IP6 Version को विकसित किया गया जिसमें असीमित IP एड्रेस तैयार किये जा सकते हैं.

IPV4 में केवल 32 बिट्स होते हैं, परन्तु IPV6 में बढ़ाकर128 बिट्स कर दिया गया है. IPV6 को एक बड़े स्तर पर लॉन्च किया गया जिसमें अनेक उपयोगी तकनीक को जोड़ा गया है, जिससे यह किसी Router के पूरे नेटवर्क को आटोमेटिक बदल सकता है. और वर्तमान में आधुनिक डेस्कटॉप तथा सर्वर में IPV6 का सपोर्ट होता है.

IP एड्रेस के प्रकार (Types of IP Address in Hindi) 

IP Address के दो प्रकार होते हैं.

Private IP Address
Public IP Address

1 Private IP Address

जब मोबाइल, कंप्यूटर आदि एक से अधिक डिवाइस किसी केबल या वायरलेस रूप में कनेक्ट होते हैं, तो यह प्राइवेट IP एड्रेस का निर्माण करते हैं. इसमें कनेक्ट किये गए सभी डिवाइस के IP को प्राइवेट एड्रेस कहा जाता है.

2 Public IP Address

पब्लिक IP एड्रेस दो प्रकार के हो सकते हैं, पहला Static IP Address जिसे ISP (Internet Service Provider) द्वारा किसी Server को Access करने के लिए खरीदा जाता है. Public IP Address इंटरनेट सेवा प्रदाताओं (ISPs) द्वारा दिया जाता है. जिसे हम बदल नही सकते हैं. तथा यह एड्रेस सबसे अलग होता है. जैसे, एक वेबसाइट, DNS Server आदि.

दूसरी ओर डायनामिक IP Address इंटरनेट कनेक्शन पर आधारित होता है तथा यह कंप्यूटर के इंटरनेट से कनेक्ट होने पर स्वतः बदल जाता है

 IP Address का इतिहास (IP Address History) 

वर्तमान समय मे इंटरनेट की इस दुनिया मे दो IP Address का इस्तेमाल किया जाता है. IPv4 और IPv6. IP Address का मूल संस्करण 1983 में Arpanet द्वारा विकसित किया गया.

IPv4 Address 32 बिट का होता है. जिसमें 4,297,967,296 एड्रेस स्पेस सीमित होता है. IPv4 में कुछ एड्रेस विशेष कार्यों के लिए Private Network (18 मिलियन और एक 1M= 10, 00,000) तथा Multicast Addressing (270 मिलियन एड्रेस) आरक्षित (Reserved) हैं. आमतौर पर IPv4 Dot-Decimal Notation के रूप में Present किया जाता है. जिसमें 4 गणीतिय अंक होते हैं, तथा प्रत्येक Range 0-255 तक बिंदुओ के रूप में विभाजित होता है. प्रत्येक भाग 8 Bits (Octet) का बना होता है.

इंटरनेट प्रोटोकॉल के शुरुवाती दौर में नेटवर्क नंबर संख्या अधिकतम आठ होती थी. जिस विधि से केवल 256 नेटवर्क की अनुमति होती थी. परन्तु जल्द ही 1981 इस समस्या के समाधान के लिए स्वतंत्र तथा आधुनिक नेटवर्क IPv4 तैयार किया गया जो वर्तमान में भी उपयोग किया जाता है.

परंतु समय के साथ बढ़ते इंटरनेट यूजर्स के कारण उपलब्ध IP Address में कमी के कारण 1995 में IP Address में 132 उपयोग कर नया डिज़ाइन दिया गया जिस सिस्टम को इंटरनेट प्रोटोकॉल 6 के नाम से जाना गया. IPv6 तकनीक को वर्ष 2000 तक विभिन्न Testing प्रक्रिया के दौर से गुजारा गया. जब कमर्शियल उत्पादन की शुरुआत हुई. वर्तमान समय में IPv4 तथा IPv6 दोनों का आधुनिक डिवाइस में उपयोग किया जाता है. दोनों IP Versions में तकनीकी बदलाव के कारण IP Address Formation में विभिन्नता देखी जा सकती है.

IPv4 तथा IPv6 के बीच IPv5 1979 के Experiment Internet Protocol Stream पर आधारित था. हालांकि IPv5 को कभी भी लॉन्च नही किया गया.

IP Address को कार्यों के आधार पर विभिन्न Classes में बांटा गया है.

Class A

इस IP Address की Range -1.0.0 1 से लेकर 120.134.254.255 होती है.यह एक विशाल नेटवर्क होता है जो अनेक डिवाइस से युक्त रहता है.

Class B

इस IP Address की Range – 128.1.0.1 से लेकर 191.255.255.254 तक होती है. तथा यह मध्यम साइज के नेटवर्क को सपोर्ट करता है

Class C

इस IP Address की Range – 193.0.1.1 से लेकर 223.255.254.254 तक होती है. तथा यह छोटा नेटवर्क होता है जिसमें 256 से कम डिवाइस होते हैं.

Class D

इस IP Address की Range – 229.0.0.0 से लेकर 239.255.255.255 के मध्य होती है. जो Multicast ग्रुप के लिए आरक्षित होता है.

Class E

इस IP Address की Range – 240.0.0.1 से लेकर 254.255.255.254 तक होती है. यह भविष्य में उपयोग की जाने वाली तकनीक है जिस पर Research तथा Development कार्य किया जा रहा है.

IP Address का क्यूँ उपयोग किया जाता है? 

एक IP address किसी भी एक networked device को एक identity प्रदान करता है. जैसे की एक घर या business office को पहचानने के लिए उनकी एक specific physical location होनी चाहिए एक identifiable address के साथ, ठीक उसी प्रकार ही एक network में अलग अलग devices को differentiate किया जाता है एक दुसरे एक IP Addresses के माध्यम से.

उदाहरण के लिए. अगर मुझे एक package भेजना है अपने दोस्त को जो की एक दुसरे ही देश में रहता है. तब इसके लिए मुझे उसकी exact destination location के विषय में ज्ञात होना आवश्यक है.

केवल receiver का नाम ही काफी नहीं होता है, साथ में उसकी एक specific address भी होनी चाहिए, जो की उस package में लिखा जाता है या attach किया जाता है, जिससे वह package उस तक आसानी से पहुँच सकते हैं. Address देखने के लिए आप Phone Book का इस्तमाल कर सकते हैं.

यदि process के मदद से Internet में भी data को भेजा जाता है. वहीँ इसमें एक phone book के बदले में आपका computer DNS servers का इस्तमाल करता है, hostname को look up करने के लिए जिससे की उसका IP address पाया जा सके.

उदाहरण के लिए, जब कोई user कोई website enter करता है जैसे की like www.hindime.net किसी browser में, तब एक request भेजी जाती है उस page को load करने के लिए DNS servers को, जिससे वो DND Server उस hostname (hindime.net) को ढूंडता है उसके corresponding IP address (158.111.75.021) को पाने के लिए.

बिना किसी IP address attach किये, user का computer ये सोच भी नहीं सकता है की वो आखिर किस चीज़ के पीछे है और वो क्या ढूंडना चाहता है.

अपने कम्प्युटर या मोबाईल फोन का IP एड्रेस कैसे पता करें? (How to find the IP address of your computer or mobile phone) 

हमने अब तक IP Address को समझा है. और जाना है कि IP Address क्यों महत्वपूर्ण होता है.

अब सवाल आता है कि हम अपने कम्प्युटर, लैपटॉप, स्मार्टफोन का आईपी ऐड्रेस किस प्रकार पता कर सकते हैं?

चलिए हम आपको Step by Step तरीका बताते है कि कैसे आप अपने किसी भी डिवाईस का आई पी एड्रेस की जानकारी कर सकते है.

हम आपको IP Address पता करने के दो आसान तरीके बता रहे है.

इंटरनेट सर्च द्वारा
Command Prompt द्वारा

 

इंटरनेट सर्च द्वारा आई पी एड्रेस का पता कैसे लगाते है?

 

Step: #1

सबसे पहले आप जिस डिवाईस का IP Address जानना चाहते है. उस डिवाईस में किसी भी एक वेब ब्राउजर को खोल लीजिए. हम यहाँ अपने कम्प्युटर का आई पी एड्रेस पता कर रहे है.

Step: #2

अब ब्राउजर के सर्च बॉक्स में what is my ip लिखिए और एंटर दबा दीजिए. ऐसा करते ही आपके डिवाईस का आई पी एड्रेस आ जाएगा.

यदि आप अपने मोबाईल फोन का आई पी एड्रेस जानना चाहते है तो उसके लिए भी यही प्रोसेस अपना सकते है.

Windows Command Prompt द्वारा IP Address पता करना 

Step: #1

सबसे पहले Windows Start Button पर क्लिक कीजिए और सर्च बॉक्स में cmd टाईप कीजिए.

Step: #2

ऐसा करते ही Command Prompt आपके सामने आ जाएगा. अब cmd Icon पर माउस एरो ले जाए और इसके ऊपर Right-Click कीजिए और Run as Administrator को सेलेक्ट कीजिए.

Step: #3

अब आपके सामने Windows Command Prompt Open हो जाएगा. अब आप इसमें की-बोर्ड की सहायता से ipconfig टाईप कीजिए. यहाँ एक बात का ध्यान रखे कि जैसा हमने लिखा है. आप भी हूँ-ब-हूँ लिखे. नही तो परिणाम बदल सकता है.

Step: #4

Ipconfig टाईप करने के बाद Enter दबा दीजिए. आपके सामने Windows PC का IP Address आ जाएगा. जो IPv4 के सामने दिखाई देगा.

इस तरह आप किसी भी डिवाईस का IP Address पता कर सकते है. और जान सकते है कि मेरे कम्प्युटर या लैप्टॉप का IP Address क्या है? और इसे किस नाम से पहचाना जाता है.

FAQ

आईपी एड्रेस में अंकों की संख्या कितनी होती है?

IP address में कुल मिलकर ४ संख्या महजूद होती है। उदाहरण के लिए, आपका IP address कुछ इसप्रकार से दिख रहा होगा 193.158. 1.30. इसमें प्रत्येक नम्बर एक सेट में महजूद होता है 0 से लेकर 255 के बीच में.

मेरा आईपी पता क्या है?

IP का पता सभी लोगों के अलग अलग होता है। ऐसे में यदि आपको अपना IP address जानना है तब आपको अपने ब्राउज़र पर सर्च करना होगा “What is My IP Address”। ऐसा करने पर आपके सामने आपका IP address सर्च रिज़ल्ट पर दिखायी पड़ जाएगा।

मेरे मोबाइल का आईपी एड्रेस क्या है?

यदि आपको अपने मोबाइल का IP address जानना है, तब सबसे पहले आपको जाना पड़ेगा Settings > About device > Status. आपके फ़ोन या tablet का IP address आपको नज़र आएगा दूसरे जानकारी के साथ।

क्या सिम कार्ड बदलने से आईपी एड्रेस बदल जाता है?

जी हाँ, अपना सीम कार्ड बदलने पर IP ऐड्रेस बदल जाता है। ये IP ऐड्रेस सभी नेट्वर्क डिवाइस को प्रदान किए गए होते हैं। ऐसे में जब भी आप किसी नयी network कनेक्शन से जुड़ते हैं तब ऐसे में आपका आईपी ऐड्रेस भी बदल जाता है।

कौन सा प्रोटोकॉल इंटरनेट में कनेक्ट क्लाइंट को आईपी एड्रेस असाइन करता है?

डायनेमिक होस्ट कान्फिगरेशन प्रोटोकॉल (डीएचसीपी) उपकरणों (डीएचसीपी क्लाइंट) द्वारा प्रयुक्त होने वाला कंप्यूटर नेटवर्किंग प्रोटोकॉल है जो की इंटरनेट में कनेक्ट क्लाइंट को आईपी एड्रेस असाइन करता है।

Conclusion

मुझे उम्मीद है की आपको मेरी यह लेख IP Address क्या है और इसके टॉप 10 बेहतरीन उपयोग क्या है? जरुर पसंद आई होगी. मेरी हमेशा से यही कोशिश रहती है की readers को पूरी जानकारी प्रदान की जाये जिससे उन्हें किसी दुसरे sites या internet में उस article के सन्दर्भ में खोजने की जरुरत ही नहीं है. इससे उनकी समय की बचत भी होगी और एक ही जगह में उन्हें सभी information भी मिल जायेंगे.

यदि आपके मन में इस article को लेकर कोई भी doubts हैं या आप चाहते हैं की इसमें कुछ सुधार होनी चाहिए, तब इसके लिए आप नीचे comments लिख सकते हैं.यदि आपको यह लेख पसंद आया या कुछ सीखने को मिला तब कृपया इस पोस्ट को Social Networks जैसे कि Facebook, Twitter इत्यादि पर share कीजिये.

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